क्या निबिरू ग्रह हमारी धरती को तबाह कर देगा?

0
Nibiru-cataclysm

क्या आपको याद है? जब कहा जाता था कि 21 दिसम्बर 2012 को धरती का अंत हो जाएगा। क्योंकि उस दिन निबिरू नाम का एक ग्रह धरती से टकराने वाला था। आखिर ये निबिरू ग्रह (Nibiru planet) है क्या? चलिए आज हम इसके बारे में जानते हैं।

1995 को Nancy Lieder ने कहा कि उसके ब्रेन में एक implant है और वह ज़ेटा रेटीकुली (Zeta Reticuli) स्टार सिस्टम के एलियंस से संपर्क कर सकती है। वह कह रही थी कि एलियंस ने उससे कहा है कि तुम इंसानों को चेतावनी दे दो कि 2003 को निबिरू नाम का एक ग्रह धरती से टकरा जाएगा। लेकिन 2003 को कुछ नहीं हुआ तो Nibiru planet पर विश्वास करने वालों ने यह कहा कि यह साल 2012 को धरती से टकराएगा पर उस दिन भी कुछ नहीं हुआ। आपको बता दें कि कुछ लोग इसे प्लेनेट एक्स (Planet X) या प्लेनेट नाइन भी कहते हैं।

कई साल पहले ज़करिया सिचिन (Zecharia Sitchin) ने एक किताब लिखी थी। जिसका नाम द ट्वेल्थ प्लेनेट (The 12th Planet) था। इस किताब के मुताबिक निबिरू नाम का एक प्लेनेट है जिसे प्राचीन सुमेरियन्स (Sumerians) ने इस सोलर सिस्टम का 12 वां ग्रह बताया है। इसमें सुमेरियन्स ने प्लूटो, चांद और सूरज को भी प्लेनेट ही कहा था। उन्होंने कहा था कि Nibiru planet हर 3,600 साल में धरती के पास से गुजरता है और इंसान उसी निबिरू में ही evolve हुए थे और जब यह प्लेनेट धरती के पास आया तो उन्होंने इस पृथ्वी को कोलोनाइज कर लिया।

Rogue Planet Nibiru
Credit: BBC

Historians और Language Experts के मुताबिक Zecharia Sitchin ने सुमेरियन्स द्वारा लिखे गए ग्रंथों को गलत ट्रांसलेट किया है। क्योंकि सुमेरियन्स यह सोचते थे कि सिर्फ 5 प्लेनेट ही होते हैं न कि 12 और न ही वह यह कहते थे कि इंसान निबिरू से आए थे। Astronomers के अनुसार कोई प्लेनेट जो हर 3,600 साल में Inner Solar System में एंटर करता हो वह एक स्टेबल आर्बिट में रह नहीं पाएगा। ऐसा प्लेनेट या तो सूर्य की तरफ चला जाएगा या फिर सोलर सिस्टम से बाहर धकेल दिया जाएगा। जहां से उसकी trajectory उसे दोबारा सोलर सिस्टम में प्रवेश ही नहीं करने देगी।

Zecharia Sitchin की इस किताब का अब तक 26 से ज्यादा भाषाओं में ट्रांसलेशन हो चुका है और उसकी लाखों प्रतियां (copies) बिक चुकी हैं।

Scientist’s को outer solar system में एक भी ऐसा बड़ा Planet नहीं मिला है जो कि Nibiru के अस्तित्व के दावों को थोड़ा भी सम्मान दे सके। आउटरसोलर सिस्टम में हमें सिर्फ सेडना (Sedna) नाम का एक प्लेनेटोइड (planetoid) ही मिला है। Planetoid उस पिंड को कहा जाता है जिसे न ही हम एक Planet कह सकते हैं और ना ही एक Comet। इसका Surface इस सोलर सिस्टम के सबसे सुंदर कलर वाले सरफेस में से एक है।

Sedna planet

इसका closest approach सूर्य से 76 AU दूर होता है और सबसे farthest approach के समय यह सूर्य से 937AU दूर रहता है। इस कारण सेडना को धरती का एक चक्कर लगाने में 11, 400 साल का समय लगता है और अगर निबिरू को 3,600 साल लगते हैं तो वह तो सेडना के करीब होगा पर हमें तो कुछ नहीं मिला। अक्टूबर 2011 को धरती के पास से एक ऐलेनिन (Elenin) नाम का Comet पास होने वाला था और CONSPIRACY THEORIST ने कह डाला कि यह कोई Comet नहीं बल्कि Nibiru planet है जो हमारे विनाश को ला रहा है। पर वह 4 करोड़ किलोमीटर दूर से ही निकल गया और यह Comet सिर्फ 5 किलोमीटर के साइज का था।

निबिरू के साथ सबसे बड़ी समस्या यह है कि CONSPIRACY THEORIST हमेशा इससे जुड़ी बातें बदलते रहते हैं इसलिए साइंटिस्ट कहते हैं कि यह CONSPIRACY THEORIST हमेशा लाइम लाइट में बने रहने के लिए निबिरू से जुड़ी नई नई कहानी बनाते रहते हैं।

कुछ साल पहले इंटरनेट पर एक अफवाह बड़ी जोरों की उड़ गई थी। कि Comet Elenin जिसे निबिरू कहा जा रहा था। उसके धरती के तरफ अप्रोच करने के कारण ही जापान में मार्च 2011 में भीषण तबाही आई थी। क्योंकि निबिरू ने पृथ्वी की axial tilt को 3 डिग्री बढ़ा दिया था। पर ऐसा कुछ नहीं हुआ था। पृथ्वी की axial tilt को भविष्य में भी कोई 3 डिग्री नहीं बढ़ा सकता।

V838 Monocerotis
Credit: YouTube

फिर एक बार कहा गया कि V838 Monocerotis नाम का तारा ही निबिरू है क्योंकि इसकी लाइट बढ़ती जा रही है। तो CONSPIRACY THEORIST को लगा कि यह धरती के करीब आ रहा है इसलिए बड़ा होता जा रहा है पर नासा के मुताबिक यह एक तारा है और इसमें लाइट एको (light echo) नाम की प्रक्रिया होती है जिसमें इसकी रोशनी इस तारे के चारों ओर कभी बिखर जाती है तो कभी चारों ओर की रोशनी कम हो जाती है।
तो आप भी निबिरू जैसी वाहियात थ्योरीज से दूर रहें।

क्योंकि हो सकता है कि आने वाले कुछ साल में आपको Nibiru planet से जुड़ी किसी बात को फिर से सुनने का मौका मिले। प्लेनेट नाइन या निबिरू नाम का कोई ग्रह हमारे सोलर सिस्टम में मौजूद नहीं है और ये सिर्फ किताबें बेचने का एक हथकंडा है।

ये भी पढ़ें:

ब्रह्माण्ड में इन 5 जगहों पर हो सकता है एलियंस का बसेरा

दुनिया में पाए जाने वाले 10 अजीब कीड़े

अंतरिक्ष में हुए रूह कंपा देने वाले हादसे

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here